राज्य एवं शहर
Chhattisgarh : रेमडेसिविर और अन्य जीवन रक्षक दवाइयों की आपूर्ति के लिए हो गाइडलाइन जारी, CM बघेल ने PM मोदी से किया अनुरोध


Chhattisgarh : रेमडेसिविर और अन्य जीवन रक्षक दवाइयों की आपूर्ति के लिए हो गाइडलाइन जारी, CM बघेल ने PM मोदी से किया अनुरोध
RO-NO-12078/75
रायपुर : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से केंद्र सरकार को कोरोना के टीके मिलने की दर पर ही राज्यों को भी टीका उपलब्ध कराने का आग्रह किया है। उन्होंने कहा कि इससे राज्यों पर वित्तीय भार कम होगा। मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य कर्मियों, फ्रंटलाइन वर्कर्स और 45 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों के टीकाकरण के लिए प्रदेश को केंद्र सरकार से मिलने वाले वैक्सीन की आपूर्ति की समय सारणी से भी अवगत कराने का आग्रह किया है, जिससे राज्य में सभी पात्र लोगों के टीकाकरण की कार्ययोजना बनाई जा सके। बघेल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आज विभिन्न राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ कोरोना नियंत्रण की व्यवस्था और टीकाकरण की प्रगति की वर्चुअल समीक्षा बैठक में यह अनुरोध किया। बैठक में स्वास्थ्य मंत्री टी.एस. सिंहदेव, गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू और मुख्य सचिव अमिताभ जैन भी शामिल हुए। वहीं नई दिल्ली में प्रधानमंत्री के साथ गृहमंत्री अमित शाह, रेल मंत्री पीयूष गोयल और नीति आयोग के सदस्य डॉ. वी.के. पॉल भी मौजूद थे।
मुख्यमंत्री बघेल ने बैठक में प्रधानमंत्री से कहा कि जिस तरह से ऑक्सीजन उत्पादक राज्य अपनी जरूरत के बाद का अतिरिक्त आक्सीजन प्राथमिकता से दूसरे राज्यों को उपलब्ध करा रहे हैं। वैसे ही रेडमेसिविर और अन्य जीवन रक्षक दवाइयों के उत्पादक राज्य प्राथमिकता से इन्हें दूसरे राज्यों को भी उपलब्ध कराएं। इसके लिए भारत सरकार द्वारा गाइडलाइन जारी किया जाना चाहिए। उन्होंने प्रधानमंत्री से यह अनुरोध भी किया कि छत्तीसगढ़ में इस्पात उद्योगों की अधिकता को देखते हुए औद्योगिक ऑक्सीजन के उत्पादन और उसके उपयोग की अनुमति दी जाए, जिससे अर्थव्यवस्था पर विपरीत प्रभाव न पड़े और इन उद्योगों से जुड़े हज़ारों परिवारों के समक्ष रोज़गार क़ा संकट न उत्पन्न हो ।
बघेल ने कोरोना टीकाकरण की प्रगति के बारे में प्रधानमंत्री को बताया कि प्रदेश की 18 प्रतिशत आबादी को इसकी पहली खुराक दी जा चुकी है। उन्होंने जानकारी दी कि 90 प्रतिशत स्वास्थ्य कर्मियों, 84 प्रतिशत फ्रंटलाइन वर्कर्स और 45 वर्ष से अधिक के 69 प्रतिशत लोगों को कोरोना से बचाव का पहला टीका लगाया जा चुका है। उन्होंने बताया कि दूसरे राज्यों से कोरोना संक्रमितों का प्रवेश रोकने के लिए अंतर्राज्यीय सीमाओं, एयरपोर्ट, बस स्टैंड और रेलवे स्टेशनों पर कोरोना की जांच की जा रही है।
मुख्यमंत्री बघेल ने बताया कि कोरोना मरीजों के इलाज के लिए अस्पतालों और कोविड केयर सेंटर्स में व्यवस्थाएं लगातार बढ़ाई जा रही हैं। निजी अस्पतालों में भी संक्रमितों के इलाज की दरें तय की गई हैं। चिकित्सा क्षेत्र में मानव संसाधन बढ़ाने के लिए सेवानिवृत्त डॉक्टरों और अन्य मेडिकल स्टाफ के साथ ही नए डॉक्टरों की भर्ती की जा रही है। रेडमेसिविर की कालाबाजारी रोकने और जरुरतमंदों तक इसे पहुंचाने के लिए व्यवस्था बनाई गई है। मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री को अवगत कराया कि चिकित्सा विशेषज्ञों और सामाजिक संगठनों के साथ ही सभी नगरीय निकायों एवं पंचायतीराज संस्थाओं से लगातार चर्चा कर कोरोना प्रबंधन में उनकी सहायता ली जा रही है। डीएमएफ, सीएसआर, सांसद निधि विधायक निधि और महापौर निधि की राशियों का भी उपयोग कोविड-19 की रोकथाम के लिए व्यवस्थाएं विकसित करने में की जा रही हैं।
मुख्यमंत्री ने जानकारी दी कि छत्तीसगढ़ में ऑक्सीजन उत्पादन के लिए आठ नई औद्योगिक इकाइयों को लाइसेंस जारी किए गए हैं। प्रदेश में कुल 29 यूनिटों द्वारा मेडिकल ऑक्सीजन का उत्पादन किया जा रहा है। राज्य की जरूरत के बाद का अतिरिक्त ऑक्सीजन हम दूसरे राज्यों को भी दे रहे हैं। समीक्षा बैठक में स्वास्थ्य विभाग की अपर मुख्य सचिव मती रेणु जी. पिल्लै, मुख्यमंत्री के सचिव सिद्धार्थ कोमल परदेशी और राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की संचालक डॉ. प्रियंका शुक्ला भी मौजूद थीं।



देश-विदेश
CG : विष्णु देव साय BJP प्रदेश अध्यक्ष पद से बेदखल, कांग्रेस ने साधा निशान ; विश्व आदिवासी दिवस पर बधाई देने के जगह, भाजपा ने आदिवासियों का किया तिरस्कार : जावेद खान


दुर्ग-भिलाई : दुर्ग जिला कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता जावेद खान ने भाजपा प्रदेश अध्यक्ष की नियुक्ति को लेकर कटाक्ष किया है। जावेद खान ने कहा- जब पुरा देश और प्रदेश विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर आदिवासियों को बधाई देने मे लीन था उसी दिन भाजपा के शीर्ष नेतृत्व ने आदिवासियों पर प्रहार करते हुए विष्णु देव साय को छत्तीसगढ़ प्रदेश अध्यक्ष पद से बेदखल कर दिया है। जिस से यह प्रतीत होता है कि भाजपा आदिवासियों के प्रति कितनी संवेदनशील है। भाजपा का आदिवासी प्रेम मात्र वोट लेने की कवायद है आज विश्व आदिवासी दिवस के दिन यह आदिवासियों का अपमान किया गया है।
RO-NO-12078/75
जावेद खान ने आगे कहा , जल जंगल और जमीन को बचाने की लड़ाई मे आदिवासी अपने प्राण तक की बली दे देते है। कांग्रेस ने आदिवासियों को हमेशा से प्रदेश या देश की राजनीति मे मुख्य धारा में लाने का काम किया है,लेकिन भाजपा ने छत्तीसगढ़ प्रदेश के आदिवासी दिग्गज नेताओं का लगातार तिरस्कार किया है। इसलिए आदिवासी बहुल क्षेत्रों से विधानसभा चुनाव में भाजपा एक तरफा साफ हो गयी थी और आज विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर भाजपा का आदिवासियों पर प्रहार छत्तीसगढ़ के आदिवासी भूलाए नही भूलेगा।


राज्य एवं शहर
विश्व आदिवासी दिवस : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आदि विद्रोह सहित 44 महत्वपूर्ण पुस्तकों का किया विमोचन


- आदि विद्रोह में स्वतंत्रता संग्राम के आदिवासी जननायकों की भूमिका का किया गया है वर्णन
- वन अधिकार के प्रति ग्राम सभा जागरूकता अभियान कैलेण्डर एवं वीडियो संदेश का भी हुआ विमोआदि विद्रोह में स्वतंत्रता संग्राम के आदिवासी जननायकों की भूमिका का किया गया है वर्णन
- वन अधिकार के प्रति ग्राम सभा जागरूकता अभियान कैलेण्डर एवं वीडियो संदेश का भी हुआ विमोचनचन
रायपुर : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज यहां निवास कार्यालय में आयोजित विश्व आदिवासी दिवस के कार्यक्रम में आदिम जाति अनुसंधान प्रशिक्षण संस्थान द्वारा प्रकाशित ’आदि विद्रोह’ एवं 44 अन्य पुस्तिकाओं का विमोचन किया। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में वन अधिकार के प्रति ग्राम सभा जागरुकता अभियान के कैलेण्डर, अभियान गीत तथा सामुदायिक वन संसाधन अधिकार (चारगांव जिला कांकेर) के वीडियो संदेश का भी विमोचन किया।
RO-NO-12078/75
कार्यक्रम में इस अवसर पर अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति विकास मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह टेकाम, वन मंत्री श्री मोहम्मद अकबर, संसदीय सचिव श्री द्वारिकाधीश यादव तथा श्री शिशुपाल सिंह सोरी, अनुसूचित जनजाति आयोग के अध्यक्ष श्री भानुप्रताप सिंह, मुख्यमंत्री के सलाहकार श्री राजेश तिवारी, मुख्यमंत्री के अपर मुख्य सचिव श्री सुब्रत साहू, आदिम जाति तथा अनुसूचित जाति के के सचिव श्री डी.डी. सिंह, आयुक्त श्रीमती शम्मी आबिदी, प्रधान मुख्य वन संरक्षक श्री राकेश चतुर्वेदी भी उपस्थित थे।
छत्तीसगढ़ के आदिमजाति अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान द्वारा भारतीय स्वतंत्रता की 75वीं वर्षगांठ के अवसर पर आजादी का अमृत महोत्सव कार्यक्रम की श्रृंखला में एवं विश्व आदिवासी दिवस के अवसर पर आदिमजाति अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान द्वारा आदिवासी जनजीवन से संबद्ध विभिन्न आयामों को अभिलेखीकृत करने का कार्य किया गया है, संस्थान द्वारा 44 पुस्तकें प्रकाशित की गई है।
आदिमजाति अनुसंधान एवं प्रशिक्षण संस्थान द्वारा जल-जंगल-जमीन शोषण, उत्पीड़न से रक्षा एवं भारतीय स्वतंत्रता के लिए समय-समय पर आदिवासियों द्वारा किये गये विद्रोहों एवं देश की स्वतंत्रता हेतु विभिन्न आंदोलनों में अग्रणी भूमिका निभाने वाली वीर आदिवासी जननायकों की शौर्य गाथा को प्रदर्शित करने आदि विद्रोह छत्तीसगढ़ के आदिवासी विद्रोह एवं स्वतंत्रता संग्राम के आदिवासी जननायक पुस्तिका तैयार की गयी है।
इस पुस्तक में 1774 के हलबा विद्रोह से लेकर 1910 के भूमकाल विद्रोह एवं स्वतंत्रता पूर्व तक के विभिन्न आंदोलन जिसमें राज्य के आदिवासी जनजनायकों की भूमिका का वर्णन है। इस कॉफीटेबल बुक का अंग्रेजी संस्करण The Tribal Revolts Tribal Heroes of Freedom Movement and the Tribal Rebellions of Chhattisgarh के नाम से प्रकाशित की गई है।
आदिवासी व्यंजन: राज्य के उत्तरी आदिवासी क्षेत्र जैसे सरगुजा, जशपुर कोरिया, बलरामपुर, सूरजपूर आदि, मध्य आदिवासी क्षेत्र जैसे रायगढ़ कोरबा, बिलासपुर, कबीरधाम, राजनांदगांव, गरियाबंद, महासमुंद, धमतरी एवं दक्षिण आदिवासी क्षेत्र जैसे कांकेर, कोण्डागांव, नारायणपुर, बस्तर, दंतेवाड़ा, सुकमा एवं बीजापुर जिलों में निवासरत जनजातिया में उनके प्राकृतिक पर्यावास में उपलब्ध संसाधनों एवं उनकी जीवनशैली को प्रदर्शित करने वाले विशिष्ट प्रकार के व्यंजन एवं उनकी विधियां अभिलेखीकृत की गई हैं।
छत्तीसगढ़ की आदिम कला: छत्तीसगढ़ राज्य के उत्तर मध्य एवं दक्षिण क्षेत्र के जिलों में निवासरत जनजातीय समुदायों में उनके दैनिक जीवन के उपयोगी वस्तुओं, घरो की दीवारों में उकेरे जाने वाले भित्ती चित्र, विशिष्ट संस्कारों में प्रयुक्त ज्यामितीय आकृतियां आदि सदैव आदिकाल से जनसामान्य के लिए आकर्षण का विषय रही है। इनमें सामान्य रूप से दीवारों व भूमि पर बनाये जाने वाले कलाकृति, बांस व रस्सी से निर्मित शिल्पाकृति एवं महिलाओं के शरीर में गुदवाये जाने वाले गोदनाकृति या डिजाइनों के स्वरूप तथा उनके पारंपरिक ज्ञान को अभिलेखीकृत किया गया है।
छत्तीसगढ़ के जनजातीय तीज-त्यौहार: राज्य के उत्तरी क्षेत्र की पहाड़ी कोरवा जनजाति का कठौरी, सोहराई त्यौहार, उरांव जनजाति का सरहुल, करमा त्यौहार, खैरवार जनजाति का बनगड़ी, जिवतिया त्यौहार आदि, मध्य क्षेत्र की बैगा जनजाति का छेरता, अक्ती त्यौहार, कमार जनजाति का माता पहुंचानी, अक्ती त्यौहार, बिंझवार जनजाति का ज्योतियां, चउरधोनी त्यौहार, राजगोंड जनजाति का उवांस, नवाखाई त्यौहार आदि वहीं राज्य के दक्षिण क्षेत्र या बस्तर संभाग की अबुझमाड़िया जनजाति द्वारा माटी तिहार, करसाड़ त्यौहार, मुरिया जनजाति के कोहकांग, माटी साड त्यौहार, हलबा जनजाति का बीज बाहड़ानी, तीजा चौथ एवं परजा जनजाति का अमुस या हरेली, बाली परब त्यौहार के सदृश्य राज्य को अन्य जनजातियों के भी त्यौहारों का अभिलेखीकरण किया गया है।
मानवशास्त्रीय अध्ययन: राज्य की 09 जनजातियों यथा राजगोंड धुरवा, कंडरा, नागवंशी, धांगड़, सौंता, पारधी, धनवार एवं कोंध जनजाति का मानवशास्त्रीय अध्ययन पुस्तक तैयार की गई। जिसमें जनजातियों की उत्पत्ति, सामाजिक संगठन, राजनैतिक जीवन, धार्मिक जीवन एवं सामाजिक संस्कार आदि का वर्णन किया गया है।
मोनोग्राफ अध्ययन: राज्य की जनजातियों के जीवनशैली से संबंधित 21 बिन्दूओं पर मोनोग्राफ अध्ययन किया गया है। जिसमें गोंड जनजाति में प्रथागत कानून, हलबा जनजाति में प्रथागत कानून, पहाड़ी कोरवा का प्रथागत कानून, कमार जनजाति में प्रथागत कानून, मझवार जनजाति में प्रथागत कानून, खड़िया जनजाति का प्रथागत कानून, उरांव का सरना उत्सव, उरांव जनजाति में सांस्कृतिक परिवर्तन, दंतेवाड़ा की फागुन मडई, नारायणपुर की मावली मडई, घोटपाल मडई, भंगाराम जात्रा, बैगा गोदना, भुजिया गोदना, भुंजिया जनजाति का लाल बंगला, कमार जनजाति में बांस बर्तन निर्माण, कमार जनजाति में हाट बाजार, बैगा जनजाति में हाट बाजार, खैरवार जनजाति में कत्था निर्माण विधि एवं सरगुजा संभाग में हड़िया एवं मंद निर्माण विधि संबंधी प्रकाशन किये गये है।
भाषा बोली: राज्य की जनजातियों में प्रचलित उनकी विशिष्ट बोलियों के संरक्षण के उद्देश्य से सादरी बोली में शब्दकोष एवं वार्तालाप संक्षेपिका, दोरली बोली में शब्दकोष एवं वार्तालाप संक्षेपिका, गोंडी बोली में शब्दकोष एवं वार्तालाप संक्षेपिका, गोंडी बोली दण्डामी माड़िया में शब्द कोष एवं वार्तालाप संक्षेपिका का निर्माण किया गया है।
प्राइमर्स: राज्य की जनजातीय बोलियों के प्रचार-प्रसार एवं प्राथमिक स्तर के बच्चों को उनकी मातृभाषा में अक्षर ज्ञान प्रदाय करने हेतु प्रायमर्स प्रकाशन का कार्य किया गया है। इस कड़ी में गोंडी बोली में गिनती चार्ट, गोंडी बोली में वर्णमाला चार्ट, बैगानी बोली में वर्णमाला चार्ट, बैगानी बोली में गिनती चार्ट एवं बैगानी बोली में बारहखड़ी चार्ट आदि शामिल है। इसके अलावा अन्य पुस्तकों में राजगोंड, धुरवा, कंडरा, नागवंशी, धांगड, सौंता, पारधी, धनवार, कोंध पर पुस्तकें प्रकाशित की गई।


राजनीति
बिग ब्रेकिंग : छत्तीसगढ़ भाजपा के नए प्रदेश अध्यक्ष बने अरुण साव ; राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने सौंपी जिम्मेदारी


रायपुर : छत्तीसगढ़ से बड़ी खबर सामने आ रही है। बीजेपी (BJP) ने सूबे में प्रदेश अध्यक्ष बदल दिया है, विष्णुदेव साय के जगह अब नए प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी सांसद अरुण साव को दी गई है।
RO-NO-12078/75
अरुण साव विद्यार्थी संगठन एबीवीपी (ABVP) के प्रदेश मंत्री रह चुके हैं। वे हाईकोर्ट के उपमहाधिवक्ता भी रहे हैं, इस दौरान उन्होंने कहा है कि वे पूरी ईमानदारी से पार्टी के लिए काम करेंगे और छत्तीसगढ़ में फिर से भाजपा की सरकार बनाने के लिए काम करेंगे। उन्होंने कहा कि वे अटल जी के सपनों को छत्तीसगढ़ साकार करेंगे।


-
Special News7 days ago
छत्तीसगढ़ से पहली महिला लेफ्टिनेंट बनी वंशिका पांडे ; मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने दी बधाई
-
खेल7 days ago
CWG 2022 : भारतीय मिक्स बैडमिंटन टीम को मिला सिल्वर मेडल ; CG के दुर्ग की आकर्षी कश्यप का भी रहा अच्छा प्रदर्शन
-
CORONA VIRUS7 days ago
छत्तीसगढ़ में आज 3 कोरोना संक्रमित की मौत, 595 नए मामले, 713 मरीज हुए स्वस्थ ; रायपुर और राजनांदगांव में सबसे अधिक नए केस
-
Special News3 days ago
आकर्षी कश्यप ने कॉमनवेल्थ गेम्स में दिखाया खेल भावना ; पाक खिलाड़ी चोटिल हुर्ह तो दिलासा देते दिखी छत्तीसगढ़ की बेटी ; देखिए वीडियो
-
क्राइम4 days ago
छत्तीसगढ़ : रायपुर, दुर्ग और राजनांदगांव में ईडी का छापा ; ज्वेलर्स और सीए के ठिकाने पर पहुंची प्रवर्तन निदेशालय की टीम
-
दुखद3 days ago
बिग ब्रेकिंग : CG में आकाशीय बिजली गिरने से 5 लोगों की मौत, 3 झुलसे ; पामगढ़ में 23 भेड़ों की भी मौत
-
CORONA VIRUS3 days ago
CG Covid Update : 493 नए केस मिले, 631 हुए स्वस्थ, 4 संक्रमितो ने गवाई जान ; दुर्ग में सबसे ज्यादा नए मरीज मिले ; देखिए
-
राजनीति4 days ago
Chhattisgarh में ED के छापे से Politics गरमाई : मुख्यमंत्री भूपेश ने उठाए कई सवाल, पूर्व CM रमन ने किया पलटवार ; पढ़िए