चीन 28 दिसंबर 2022: चीन में कोरोना बरपा रहा है। वहीं चीन कोरोना के आकड़ों को दुनिया के सामने नहीं आने दे रहा है। ऐसे में सरकारी दस्तावेजों के लीक होने के बाद बड़ा खुलासा हुआ है। आलम ये है कि, अस्पतालों में लाशों का ढ़ेर लग गया है। शव उठाने के लिए आदमी कम पड़ गए, जिसके लिए लोगों की भर्ती की जा रही है। इतना ही नहीं चीन से मौत के भयावह मंजर के वीडियो भी सामने आए हैं, जिसमें लाशें ही लाशें नजर आ रही है। वहीं चीन का दावा है कि बीते 6 दिनों में वहां एक भी मौत नहीं हुई है।
ह्यूमन राइट एक्टिविस्ट जेनिफर जेंग ने चीन के शंघाई शहर का एक वीडियो शेयर किया है। इसमें शंघाई के अस्पताल में शवों के ढेर नजर आ रहे हैं। उनके मुताबिक, ये वीडियो 24 दिसंबर का है। इतना ही नहीं जेंग ने एक वीडियो अनसन शहर का भी शेयर किया है। इसमें देखा जा सकता है कि किस तरह से चीन में फ्यूनरल होम फुल हो गए हैं। अंतिम संस्कार के लिए लंबी वेटिंग है। कोरोना के लगातार हो रहीं मौतें के चलते फ्यूनरल होम की पार्किंग में शवों को रखा जा रहा है।
कोरोना का कहर शंघाई शहर में भी जारी है। यहां कोरोना के लगातार केस बढ़ रहे हैं। इतना ही नहीं कोरोना के चलते काफी लोगों की जान भी जा रही है। ऐसे में शंघाई के श्मशान घाटों में भर्तियां चल रही हैं। लोग जो शव उठा सकें, वे इसके लिए आवेदन कर सकते हैं। इतना ही नहीं जो लोग कोरोना से संक्रमित हो चुके हैं, उन्हें वरीयता दी जा रही है।
कोरोना से जुड़े मौत के आंकड़े दुनिया के सामने न आएं, चीन इसकी पुरजोर कोशिश में जुटा है। लोगों को उनके परिजनों के शव अस्पताल से तभी दिए जा रहे हैं, जब वे एक फॉर्म पर साइन कर रहे हैं। इसमें लोगों को यह लिखकर देना पड़ रहा है कि उनके परिजनों की मौत कोरोना से नहीं हुई। कोई भी गलत दावा होता है। तो उसके लिए मैं जिम्मेदार हूं। वहीं इन सबके बीच बीजिंग के फ्यूनरल होम को भेजे गए नोटिस की कॉपी सामने आई है। इसमें लिखा है कि फ्यूनरल होम का कोई भी कर्मचारी किसी मीडिया संस्थान को इंटरव्यू देने पर रोक लगाई गई है। इसके साथ ही कोई भी डाटा शेयर करने की भी मनाही की गई है।
मीडिया रिपोटर्स के अनुसार, चीन के राष्ट्रीय स्वास्थ्य आयोग की एक बैठक में संक्रमण से संबंधित आंकड़े प्रस्तुत किए गए थे। ये बैठक सिर्फ 20 मिनट तक ही चली और अब इसके दस्तावेज लीक हो गए हैं। आंकड़ों के मुताबिक एक से 20 दिसंबर के बीच 24.8 करोड़ लोग कोविड-19 से संक्रमित हुए, जो चीन की आबादी का 17.65 फीसदी हैं।